दोस्तों CGPA की फुल फॉर्म हिंदी में होती है Cumulative Grade Points Average. सिर्फ इतना ही नहीं बल्कि हम Full Form of CGPA in Hindi के साथ साथ इसके वारे में विस्तार से बात करेंगे और जानेंगे कि CGPA क्या होता है। मित्रों उम्मीद है कि आपने CGPA का नाम आपने कई बार अखबारों में या टीवी में या कंपटीशन की तैयारी कराने वाली किताबों में जरूर सुना होगा। लेकिन आज हम Full Form of CGPA Hindi me विस्तृत जानकारी के साथ आपके सामने प्रस्तुत कर रहे हैं.
Full Form of CGPA in Hindi CGPA का फुल फॉर्म
आपको बता दें कि CGPA का फुल फॉर्म “Cumulative Grade Point Average” होता है. जिसे हिंदी में “औसत ग्रेड बिंदु” कहते हैं. CGPA एक एजुकेशनल ग्रेडिंग सिस्टम होता है. जिसका उपयोग कॉलेज, स्कूल में विद्यार्थी के अकैडमिक पर्फोमेंस को मापने में किया जाता है. बता दें कि CGPA को कैलकुलेट करने का तरीका सभी देशों में अलग होता है।
दरअसल सीजीपीए एक प्रकार से विद्यार्थी के द्वारा परीक्षा में सभी विषय मे पाए गए नंबर का फाइनल एवरेज होता है. जो उसकी परफॉरमेंस को दर्शाने का काम भी करती है.
ध्यान रहे कि अंक प्रणाली में विद्यार्थी को एक विषय में से 0 से 100 के बीच अंक दिये जाते हैं तथा इस प्रकार सभी विषयों में से प्राप्त अंको का एक औसत निकालकर Percentage % ( प्रतिशत ) के रूप में परीक्षा परिणाम निकाल दिया जाता है।
परन्तु ग्रेड प्रणाली इससे बहुत अलग हैं। Grade System में विद्यार्थी को एक विषय में अंकों के साथ पर ग्रेड पॉइंट दिये जाते हैं एवं सभी विषयों में प्राप्त ग्रेड पॉइंट के औसत के आधार पर उसे एक Grade Category देकर परीक्षा परिणाम घोषित भी किया जाता है।
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CGPA के गुण
आपको बता दें कि सीजीपीए से छात्र किस विषय में अच्छा है तथा किस विषय में कमजोर हैं इसका वो खुद आंकलन कर सकता है।
दरअसल सीजीपीए छात्रों पर उच्च अंक प्राप्त करने के दबाव को कम करता है क्योंकि रिपोर्ट कार्ड में किसी विषय में विद्यार्थी द्वारा प्राप्त वास्तविक अंकों का उल्लेख न करके केवल Grade Point दिये गये होते हैं।
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CGPA के दोष
आपको बता दें कि सीजीपीए के द्वारा छात्रों के सही प्रदर्शन का पता नहीं चल पता हैं। CGPA छात्रों के सटीक प्रदर्शन को ही प्रदर्शित नहीं करता है।
ग्रेडिंग प्रणाली के कारण, बच्चे कम प्रदर्शन करते हैं क्योंकि वे जानते हैं कि वे कुछ गलतियाँ करके भी लक्षित ग्रेड को भी हासिल करेंगे।
ऐसा कहा जाता है कि छात्रों का सटीक प्रदर्शन दिखाने में ग्रेडिंग सिस्टम विफल रहता है। हम केवल छात्रों की वास्तविक क्षमता के बजाय छात्रों के द्वारा प्राप्त ग्रेड के बारे में जान सकते हैं।
दरअसल किसी विषय में छात्र की वास्तविक योग्यता कितनी हैं इसका ज्ञान सीजीपीए के द्वारा नहीं निकाला जा सकता हैं।
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आपको यह भी बता दें कि CGPA से Percentage Calculate करने के लिए आपको सी.जी.पी.ए में 9.5 से Multiply करना होता है तथा इस तरह आपको एक कुल संकेतक प्रतिशत मिल जाती है. जैसे कि आपका सीजीपीए 8 है तथा आप आपको अपने सीजीपीए 8 को 9.5 से Multiply करना है.
ऐसा कहा जाता है कि CGPA किसी भी Exam में शामिल एक छात्र के all subjects में हासिल numbers का फ़ाइनल average बताने का काम करता है. आपको बता दें कि मित्रों हमारे भारत में सीजीपीए की Grading प्रतिशत आधार पर होती है. आपको पता होना चाहिए कि CGPA निकालने के लिए आमतौर पर average तरीके का ही प्रयोग किया जाता है. एक और बात जो ध्यान दे योग्य हर देश में CGPA निकालने का तरीका बिल्कुल अलग-अलग ही होता है।
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सीजीपीए के लाभ
आपको यह बता दें कि शैक्षिक ग्रेडिंग मानक ने छात्रों के स्कोरिंग तनाव को कम कर दिया, जिससे उन्हें बिना किसी दबाव के अध्ययन करने की अनुमति मिली।
ऐसा कहा जाता है कि शैक्षिक ग्रेडिंग प्रणाली एक विकसित अंकन संरचना पर ही आधारित होती है।
माना जाता है कि शैक्षिक ग्रेडिंग मानक छात्रों को उनकी कमियों एवं क्षमताओं की पहचान करने में बहुत ही सहायता करता है।
मानना है कि शिक्षा ग्रेडिंग प्रणाली कई मायनों में पढ़ाई को अधिक लाभदायक एवं तेज बनाती है।
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सीजीपीए की सीमाएं
आपको यह बता दें कि शैक्षिक ग्रेडिंग मानक की वजह से छात्रों के कम हासिल करने की संभावना बनी होती है।
ऐसा कहा जाता है कि सीजीपीए कम प्रदर्शन करने वालों की तुलना में अधिक अंक हासिल करने वाले छात्रों को हतोत्साहित भी करता है। क्योंकि दोनों समान प्रतिशत वर्गीकरण में ही आते हैं।