कहा जाता है कि राधा का जिक्र पद्म पुराण एवं ब्रह्मवैवर्त पुराण में अधिकतर सुनने को मिलता है. पद्म पुराण के अनुसार राधा वृषभानु नामक गोप की पुत्री थीं. ब्रह्मवैवर्त पुराण के अनुसार राधा कृष्ण की एक दोस्त भी थीं एवं उनका विवाह रापाण, रायाण अथवा अयनघोष नामक एक व्यक्ति के साथ हुआ था. अत: गोलोक के रिश्ते से राधा भगवान श्रीकृष्ण जी की पुत्रवधू मानी जाती हैं.
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आपको ये बता दें कि रुक्मिणी विदर्भ के राजा भीष्मक की पुत्री थीं. जो भीष्मक मगध के राजा जरासंध का जागीरदार था. उनको श्री कृष्ण से बहुत प्यार हो गया था एवं वह उनसे शादी भी करने को तैयार हो गईं, जिनका गुण, चरित्र, आकर्षण एवं महानता सबसे स्धिक लोकप्रिय मानी जाती थी. रुक्मी एक महत्वाकांक्षी राजकुमार भी थाएवं वह निर्दयी जरासंध का गुस्सा बिल्कुल भी नहीं चाहता था, जो बहुत ही निर्दयी था.
राधा और रुक्मिणी में से लक्ष्मी कौन ?
राधा एवं रुक्मणी दोनोंको ही लक्ष्मी का प्रारूप माना जाता है. परंतु, जहां रुक्मणी देहिक लक्ष्मी है वहीं दूसरी ओर राधा आत्मिक लक्ष्मी हैं.ऐसा जाना जाता है कि देवी राधा को देवी लक्ष्मी का अवतार बताया गया है.यह भी जाना जाता है कि देवी लक्ष्मी जी ने अपने हिस्से में धरती पर जन्म लिया एवं भीष्मक के परिवार में रुक्मिणी के रूप में जन्म लिया.
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Radha Mata Kiska Avtar Thi
देवी राधा को माता लक्ष्मी जी का अवतार बताया गया है.
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Is Radha And Rukmini Are Same
रुक्मणी जो पहले राधा थी वह कृष्ण से बहुत अधिक प्यार करती थी, परन्तु विधर्व एवं कृष्ण में बहुत ही वैर था, इस कारण से भगवान श्री कृष्ण ने रुकमणी को भगाकर उनसे शादी भी की थीइससे यह पता चलता है कि रुक्मणी एवं राधा कोई अलग नहीं बल्कि दोनों एक ही थीं
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Radha Krishna Ki Kaun Lagti Thi- Radha Krishna Ji Ki Kaun Thi
ऐसा कहा जाता है कि देवी राधा भगवान श्रीकृष्ण जी की मामी थीं,क्योंकि उनका विवाह भगवान श्री कृष्ण जी की माता यशोदा के भाई रायाण के साथ हुआ था.
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